"I WOULD BE HAPPY TO MAKE YOU MORE PROSPEROUS"

Monday, 6 June 2011

"Against corruption""

प्रिय दोस्तो,
बात जहाँ तक भ्रष्टाचार को समाप्त करने की है, काले धन को भारत में वापस लाने भर से समाप्त नहीं होगा| जब तक सत्ता के गलियारों में देश की आबरू व जनता की संप्रभुता को सरेआम नीलाम करने वाले दलाल बैठे रहेंगे, देश से भ्रष्टाचार खत्म होने की उम्मीद नहीं की जा सकती है| खासकर आप इन भ्रष्ट राजनेताओं से ऐसी उम्मीद नहीं कर सकते हैं कि वे बाबा रामदेव या अन्ना हजारे के एजेंडे पर चलकर अपने पांव पर कुल्हाडी मारेंगे| अब समय आ गया है कि आम जनता को अपनी लोकप्रिय संप्रभुता का परिचय देना होगा और उसे मांग करनी होगी कि आम-चुनाव में उसे उम्मीदवार को कहने का अधिकार मिलना चाहिए| अगर चुनाव में बहुमत इनमें से कोई नहीं के विकल्प को मिलता है तो उन उम्मीदवारों पर अगले एक कार्यकाल के लिए चुनाव लड़ने पर प्रतिबन्ध लगना चाहिए| भ्रष्टाचार एवं राजनीतिक अनुत्तरदायित्व को रोकने के लिए इससे बड़ा लोकतांत्रिक उपाय और कुछ नहीं हो सकता है| यह अधिकार जन-सशक्तिकरण का एक ऐसा माध्यम है जो भ्रष्ट राजनीतिज्ञों को शासन-व्यवस्था से बाहर निकाल कर एक स्वस्थ लोकतंत्र की बुनियाद को मजबूत करेगा| अतः इस अभियान में आज व अभी शामिल होकर इस सन्देश को ईमेल, ब्लॉग, वेबसाइटों, एस.एम.एस एवं आपसी बातचीत के द्वारा जन-जन तक पहुंचाकर लोकतंत्र की रक्षार्थ आगे बढ़े व इसे प्रचंड जनमत में बदलने का प्रयास करें|
इसी शुभ-इच्छा के साथ|
मनीष कुमार पटेल 

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